यहां धर्मशाला के सामने मंदिरों की श्रृंखला है।इन्हे तलहटी के मंदिर के नाम से जाना जाता है।यहां पर बाहुबली भगवान की खडगासन प्रतिमा,ओम, हीं एवम् पांच मेरु विराजमान है। एक..... Read More...
पर्वत के पीछे सेमरा पठार एवं नदी की धारा के मध्य में ५० फुट ऊँची एक पाषाण-शिला है। कहा जाता है कि इसी शिला पर तप करते हुए वरदत्त आदि पाँच मुनिराज मुक्त हुए थे। अत: यह शिला..... Read More...
धर्मशाला परिसर में पीछे की ओर,नवीन धर्मशाला एवम् कार्यालय भवन के निकट यह ध्यान केंद्र निर्मित है।भवन की छत डोम के आकार की है। यहां पर ध्यान करने का उपयुक्त वातावरण है। यह..... Read More...
वर्ष 2000 में आचार्य देवनंदी जी महाराज की प्रेरणा से देवनंदी शोध संस्थान की स्थापना की गई। वर्तमान में इस संस्थान में लगभग 7000 अति प्राचीन जैन साहित्य के ग्रंथ मौजूद हैंl यह..... Read More...
आधुनिक सुविधा सम्पन्न 50 एवं अच्छी श्रेणी के 60 कमरे हैं। तीन धर्मशालाऐं एवं 7 हाॅल है। नव निर्मित विशाल वर्णी सभागार है।
नीट & क्लीन रुम
वेस्टर्न फैसेलिटी
बिग साइज..... Read More...
सूचना केंद्र नैनागिरी और स्थानों के पास से संबंधित सभी आवश्यक जानकारी प्रदान करता है। आगंतुकों के लिए हेल्प डेस्क 24 X 7 उपलब्ध है।
स्थानीय जानकारी
जैन तीर्थ..... Read More...
भोजनशाला मैं स्वादिष्ट स्वास्थ्यप्रद लंच और डिनर 10 AM से 06 PM तक उपलव्ध है नाश्ता,चाय कॉफी की शॉप कैंपस मैं है
हैल्दी, फ्रेश & हाॅट फूड
लंच टाईम: 10 AM-02 PM
डिनर टाईम: 04 PM-06 PM
स्पेशल..... Read More...
यहां निर्मित तालाब चंदेल वंश के राजाओं द्वारा अनेक वर्ष पूर्व निर्मित कराया गया है। यह पवित्र महावीर तालाब है।इसमें मछली मारने पर पन्ना महाराज द्वारा प्रतिबंध लगाया गया..... Read More...
महावीर तालाब के दक्षिणी ओर पर्वत की उत्तरी ढलान में तीर्थंकर वन विकसित किया जा रहा है। यहां पर २४ तीर्थंकरों के दीक्षा वृक्ष विकसित किए जा रहे है।यह वन अनूठे प्रकार का है।..... Read More...